एनसीईआरटी की 35 करोड़ की अवैध रूप से छापी गईं किताबें पकड़ीं

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  • एसटीएफ व पुलिस ने पुस्तक प्रकाशक और विक्रेता के गोदाम में मारा छापा
  • गोदाम के अंदर मिले 11 लोग हिरासत में, पुलिस व एसटीएफ कर रही पूछताछ

गोदाम में जांच करती पुलिस टीम।

प्रारब्ध न्यूज ब्यूरो, मेरठ


स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) और परतापुर पुलिस ने शुक्रवार शाम एक पुस्तक प्रकाशक और विक्रेता के गोदाम में छापा मारकर अवैध रूप से छापी गईं 35 करोड़ की नेशनल काउंसिल आॅफ एजुकेशनल रिसर्च एंड ट्रेनिंग (एनसीईआरटी) और कुछ अन्य किताबें बरामद की हैं। ये किताबें टीएनएसके प्रिंटर्स एंड पब्लिसर्स के यहां छपी हैं। दिल्ली, उत्तराखंड, हरियाण और उत्तर प्रदेश के कई बड़े शहरों में सप्लाई की जाती थीं। गोदाम में छापा मारने के दौरान प्रिटिंग प्रेस में रखी किताबों को जला दिया गया। कर्मचारी सीपीयू और कंप्यूटर लेकर भाग निकले। पुलिस ने गोदाम सील कर दिया है। गोदाम के अंदर मिले 11 लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है।

परतापुर थाना क्षेत्र के सुशांत सिटी के सेक्टर तीन में सचिन गुप्ता रहते हैं। सचिन का मोहकमपुर में टीएनएसके प्रिंटर्स एंड पब्लिसर्स के नाम से फर्म है। परतापुर के अछरोंडा गांव में गोदाम बना रखा है। एसटीएफ के सीओ बृजेश सिंह और परतापुर इंस्पेक्टर आनंद मिश्रा की टीम ने गोदाम पर छापा मारा। गोदाम के अंदर करीब 10 से 12 ट्रक किताबें भरी हुईं थीं। उनकी कीमत पुलिस ने 35 करोड़ रुपये बताई है। एसएसपी अजय साहनी ने बताया कि एनसीईआरटी की यह किताबें अवैध रूप से छापी गईं हैं। प्रिटिंग प्रेस स्वामी प्रदीप गुप्ता और सचिन गुप्ता के खिलाफ परतापुर थाने में मुकदमा दर्ज कराया गया है।

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