प्रदेश में बेकाबू हुआ कोरोना वायरस कहर बरपा रहा है। रोजाना बड़ी संख्या में संक्रमितों के सामने आने से स्वास्थ्य सुविधाएं भी चरमारा गईं हैं। हर आम और खास व्यक्ति कोरोना वायरस की चपेट में आ रहा है। इस कड़ी में कारोना की चपेट में आकर बुधवार को इलाहाबाद उच्च न्यायालय (हाईकोर्ट) के न्यायमूर्ति वीरेंद्र कुमार श्रीवास्तव (न्यायमूर्ति वीके श्रीवास्तव) का निधन हो गया। उनकी कुछ दिन पहले काेरोना की पाॅजिटिव रिपोर्ट आई थी। उन्हें लखनऊ के संजय गांधी पीजीआई में भर्ती कराया गया था।
न्यायमूर्ति वीरेंद्र कुमार श्रीवास्तव मूल रूप से महाराजगंज जिले के फरेंदा क्षेत्र के पोखरभिंडा गांव के रहने वाले थे। उनका जन्म एक जनवरी 1962 को हुआ था। उन्होंने वर्ष 1986 में विधि में स्नातक यानी एलएलबी तथा वर्ष 1988 में विधि में परास्नातक यानी एलएलएम की डिग्री हासिल की। उसके बाद उन्होंने वकालत शुरू की थी।
न्यायमूर्ति श्रीवास्तव वर्ष 2005 में न्यायिक सेवा में चयनित हुए थे। वर्ष 2016 में जिला जज के पद पर पदोन्नत हुए थे। फिर 20 सितंबर 2016 से लेकर 21 नवंबर 2018 तक प्रमुख सचिव विधि रहे। 22 नवंबर 2018 को इलाहाबाद हाईकोर्ट के न्यायाधीश नियुक्त किए गए। उनका कार्यकाल 31 दिसंबर 2023 तक था।
कोरोना से सेवारत न्यायमूति वीके श्रीवास्तव का कोरोना से निधन की खबर जैसे ही हाईकोर्ट पहुंची। हाईकोर्ट के अधिवक्ताओं, न्यायिक अधिकारियों एवं कर्मचारियों में शोक की लहर दौड़ गई। उनका पार्थिक शरीर अंतिम संस्कार के लिए गृह जनपद ले जाया गया है। वहां के त्रिमुहानी घाट पर अंतिम संस्कार किया जाएगा।
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